संविधान-75
यह तारीख सचमुच ऐतिहासिक है, 1949 का 26 नवंबर। संविधान के सपने के पूरे होने का यह दिन है। सबसे पहले लोकमान्य बालगंगाधर ति»
यह तारीख सचमुच ऐतिहासिक है, 1949 का 26 नवंबर। संविधान के सपने के पूरे होने का यह दिन है। सबसे पहले लोकमान्य बालगंगाधर ति»
सर्वोच्च न्यायालय सर्वोच्च न्यायालय ने अहम फ़ैसला सुनाते हुए कहा कि सभी निजी संपत्ति को सरकार नहीं ले सकती है. इस मामले»
सर्वोच्च न्यायालय ने अपने एतिहासिक फैसले में कई राज्यों की जेल नियमावलियों को निरस्त कर दिया, जो “जातिगत भेद को बढ़ावा द»
जम्मू-कश्मीर विधानसभा के लिए पहले चरण का मतदान बुधवार को संपन्न हो गया । 2019 के बाद से यह पहला चुनाव है जब अनुच्छेद 37»
संविधान नियमों, अधिनियमों का संग्रहण या दस्तावेज मात्र नहीं होता. यह लोकतंत्र का प्राण तत्व है, उसकी जीवंतता आधार है. 26»
लोकसभा का चुनाव चल रहा है। भारतीय जनता पार्टी अपने दस साल के कार्यकाल का लेखा-जोखा जनता के सामने रख रही। मोदी सरकार अपने»
भारतीय दंड संहिता की धारा 124ए के तहत राजद्रोह एक अपराध है.जिसके अनुसार किसी भी व्यक्ति द्वारा सांकेतिक, वाचन, लेखन अथव»
ब्रूनो कहते हैं, “बहुमत से सत्य नहीं बदलता है.” सत्ता के लिए सत्य एवं बहुमत के मध्य का संघर्ष कोई नई बात न»
देश संकट में है. ये संकट धार्मिक टकराव का है जो तत्क्षण पैदा नहीं हुआ. यह एक लंबी विवादास्पद ऐतिहासिकता की उपज हैं. इस स»
सर्वोच्च न्यायालय ने जम्मू कश्मीर में विधानसभा और संसदीय क्षेत्रों के परिसीमन को चुनौती देने वाली याचिका को खारिज»
सिद्धांतविहीन अवसरवादिता भारतीय राजनीति का कोढ़ हैं. इसी का एक पहलू राजनीतिक दल-बदल होता है. वास्तव में ये वैचारिक प्रतिब»
भारतीय संविधान के चतुर्थ अध्याय में अनुच्छेद 36 से 51 तक राज्य के नीति- निर्देशक सिद्धान्तों का प्रावधान है, जिन्हें अनु»
पढ़ने वालों को अटपटा लग सकता है लेकिन यह तथ्य सच है। समाज और राजनीति में जो तथ्य प्रचलित है,उसमें यह नाम कहीं दब सा गयाह»
वरिष्ठ पत्रकार और इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केन्द्र के अध्यक्ष रामबहादुर राय की किताब ‘भारतीय संविधान – अनक»
संविधान को जानने और जांचने की एक कसौटी हमें सामने रखनी चाहिए। वह है-स्वराज। हमारे राष्ट्रीय आंदोलन का दूसरा लक्ष्य यही थ»
मैं आपसे कह रहा था इस संविधान में अच्छी बातें क्या हैं? संविधान का जो मौलिक अधिकार है वह आजादी के आंदोलन की मांग के अनुर»
इसका एक परिणाम यह हुआ कि यूरोप में उभरी अनेक विचारधाओं की छाया स्वाधीनता आंदोलन पर वैचारिक रूप में पड़ी। साम्यवाद, नानारू»
संविधान को जानें। मैं आपसे एक सवाल पूछूं, हम संविधान को क्यों जानें? सवाल कई तरह के होते हैं। कई बार सवाल इसलिए भी पूछे»
श्रीराम जन्मभूमि मंदिर के पक्ष में जिस समय निर्णय आया उसी समय सृष्टि में युग का परिवर्तन हो गया। इस समय कलिकाल चल रहा है»